मित्रों, मोदी सरकार के ५ साल पूरे होनेवाले हैं. अगर आपसे सरकार के काम-काज का निष्पक्ष होकर आकलन करने के लिए कहा जाए तो आपका निष्कर्ष क्या होगा राम जाने लेकिन हमारा तो वही आकलन होगा जो एक सच्चे राष्ट्रवादी का होना चाहिए.
मित्रों, क्या आपको याद है कि २०१४ में श्रीमान नरेन्द्र मोदी जी ने क्या-क्या वादे किए थे? चलिए मैं याद दिला देता हूँ-१. मोदी जी ने वादा किया था कि वे १०० दिनों में विदेशों से कालाधन वापस लाएंगे.
२. एक साल में सारे दागी सांसदों-विधायकों पर मुकदमा चलवाकर फैसला करवाएंगे.
३. देश के पूर्वी हिस्से के तीव्र विकास के लिए प्रयास करेंगे.
४. भ्रष्टाचारियों को सजा दिलवाएँगे और उनके द्वारा लूटे गए धन-सम्पत्ति को बिना भेदभाव के जब्त करेंगे.
५. गंगा को फिर से प्रदूषण-मुक्त बनाया जाएगा.
६. महंगाई कम की जाएगी.
७. हर साल २ करोड़ रोजगार पैदा किए जाएँगे.
८. सरकारी अस्पतालों की स्थिति में सुधार किया जाएगा.
९. कृषकों की आमदनी की दोगुना किया जाएगा.
१०. पुलिस में सुधार किया जाएगा.
११. न्यायिक प्रक्रिया को सरल और तीव्र किया जाएगा.
१२. पाक समर्थित आतंकवाद का स्थायी ईलाज किया जाएगा.
१३. भारत न तो किसी को आँख दिखाएगा न ही किसी से आँखें चुराएगा बल्कि हर किसी से आँखों में ऑंखें डालकर बात करेगा.
१४. सबको अपना आवास उपलब्ध करवाया जाएगा.
१५. भारत की शिक्षा को वैश्विक स्तर का बनाया जाएगा.
१६. गरीबों का पैसा सीधे उनके खाते में डाला जाएगा.
१७. भारत से गरीबी का नामोनिशान मिटा दिया जाएगा. सबको अमीर बनाया जाएगा.
१८. देश के खजाने को सुरक्षित किया जाएगा और कोई खूनी पंजा इस पर हाथ नहीं डाल पाएगा.
१९. सारे बंगलादेशी घुसपैठियों को चिन्हित कर वापस भेजा जाएगा.
२०. भारत को वैज्ञानिक और तकनीकी अनुसन्धान में अग्रणी बनाया जाएगा.
२१. वे प्रधानमंत्री की तरह नहीं बल्कि प्रधान सेवक की तरह व्यवहार करेंगे.
२२. रुचि और प्रतिभा के आधार पर नामांकन को सुनिश्चित किया जाएगा.
२३. स्वायल हेल्थ कार्ड बनाया जाएगा और कृषि ऋण और फसल बीमा को सस्ता और सरल बनाया जाएगा.
२४. आधारभूत संरचना में सुधार किया जाएगा.
२५. २४ घंटे बिजली की उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी.
आदि आदि.
मित्रों, चुनाव जीतने के बाद देश की प्रगति को समर्पित कई गीत मोदी सरकार ने बनाए-जैसे कि मेरा देश बदल रहा है, आगे चल रहा है. दुर्भाग्यवश आज यह गीत एक नारा भर बनकर रह गया है. देश तो नहीं बदला लेकिन भाजपा बदल गई, उसका कार्यालय बदल गया. भाजपा आज पापी नेताओं के पापों का नाश करनेवाली गंगा बन गई है. उसका कार्यालय दुनिया का सबसे बड़ा कार्यालय है और वो खुद दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी.
मित्रों, बांकी किस क्षेत्र में क्या काम हुआ है आप ऊपर वर्णित वायदों को सरसरी निगाह से देखकर भी आसानी से मूल्यांकन कर सकते हैं. बर्बादे गुलिस्ताँ के लिए बस एक ही उल्लू काफी है, हर शाख पे उल्लू बैठा है अंजामें गुलिस्तान क्या होगा. यानि देश को बर्बाद करना है तो वित्त मंत्री किसी मूर्ख को बना दीजिए. बस वो अर्थव्यवस्था का नाश कर देगा और बांकी विभाग खुद ही बर्बाद हो जाएँगे, पूरा देश तबाह हो जाएगा. नोटबंदी से क्या लाभ हुआ राम जाने लेकिन जीएसटी से व्यापक नुकसान जरूर हुआ है. राज्यों की कर वसूली तो घटी ही है केंद्र की भी घट गयी है. राज्य सरकार व विश्वविद्यालयों के कर्मियों को ६-६ महीने से वेतन नहीं मिला है. बिहार और दिल्ली का तो मैं प्रत्यक्ष गवाह हूँ बांकी राज्यों का आपलोगों को बेहतर पता होगा. और उस पर तुर्रा यह है कि ऐसी हालत तब है जब अभी नए वेतनमान को लागू करना बांकी है उसके बाद वेतन चालू रहेगा या बिलकुल ही बंद हो जाएगा अरुण जेटली जाने या हमारी पॉकेटमार सरकार जाने जो इन दिनों टेलकॉम कंपनियों की तरह ग्राहकों के बैंक खातों से चुपके से पैसा खिसकाने में लगी हुई है. १५ लाख तो आए नहीं १५०० भी गए.
मित्रों, आपने ध्यान दिया होगा कि मोदी सरकार २०१९ की बात ही नहीं कर रही बल्कि २०२२ की बात कर रही है. ५ साल में कुछ अच्छा होता दिख नहीं रहा तो ३ सालों में क्या हो जाएगा और भारत को क्या बना दिया जाएगा? मुझे तो लगता है कि सिवाय मूर्ख के और कुछ नहीं. आपको क्या लगता है?
मित्रों, कुछ लोगों को यह भी लग सकता है कि मैंने पार्टी बदल ली है लेकिन ऐसा बिलकुल भी नहीं है. मैंने आज भी घनघोर राष्ट्रवादी हूँ. मेरे लिए मोदिभक्ति कभी देशभक्ति नहीं थी, नहीं है और न ही होगी.
मित्रों, क्या आपको याद है कि २०१४ में श्रीमान नरेन्द्र मोदी जी ने क्या-क्या वादे किए थे? चलिए मैं याद दिला देता हूँ-१. मोदी जी ने वादा किया था कि वे १०० दिनों में विदेशों से कालाधन वापस लाएंगे.
२. एक साल में सारे दागी सांसदों-विधायकों पर मुकदमा चलवाकर फैसला करवाएंगे.
३. देश के पूर्वी हिस्से के तीव्र विकास के लिए प्रयास करेंगे.
४. भ्रष्टाचारियों को सजा दिलवाएँगे और उनके द्वारा लूटे गए धन-सम्पत्ति को बिना भेदभाव के जब्त करेंगे.
५. गंगा को फिर से प्रदूषण-मुक्त बनाया जाएगा.
६. महंगाई कम की जाएगी.
७. हर साल २ करोड़ रोजगार पैदा किए जाएँगे.
८. सरकारी अस्पतालों की स्थिति में सुधार किया जाएगा.
९. कृषकों की आमदनी की दोगुना किया जाएगा.
१०. पुलिस में सुधार किया जाएगा.
११. न्यायिक प्रक्रिया को सरल और तीव्र किया जाएगा.
१२. पाक समर्थित आतंकवाद का स्थायी ईलाज किया जाएगा.
१३. भारत न तो किसी को आँख दिखाएगा न ही किसी से आँखें चुराएगा बल्कि हर किसी से आँखों में ऑंखें डालकर बात करेगा.
१४. सबको अपना आवास उपलब्ध करवाया जाएगा.
१५. भारत की शिक्षा को वैश्विक स्तर का बनाया जाएगा.
१६. गरीबों का पैसा सीधे उनके खाते में डाला जाएगा.
१७. भारत से गरीबी का नामोनिशान मिटा दिया जाएगा. सबको अमीर बनाया जाएगा.
१८. देश के खजाने को सुरक्षित किया जाएगा और कोई खूनी पंजा इस पर हाथ नहीं डाल पाएगा.
१९. सारे बंगलादेशी घुसपैठियों को चिन्हित कर वापस भेजा जाएगा.
२०. भारत को वैज्ञानिक और तकनीकी अनुसन्धान में अग्रणी बनाया जाएगा.
२१. वे प्रधानमंत्री की तरह नहीं बल्कि प्रधान सेवक की तरह व्यवहार करेंगे.
२२. रुचि और प्रतिभा के आधार पर नामांकन को सुनिश्चित किया जाएगा.
२३. स्वायल हेल्थ कार्ड बनाया जाएगा और कृषि ऋण और फसल बीमा को सस्ता और सरल बनाया जाएगा.
२४. आधारभूत संरचना में सुधार किया जाएगा.
२५. २४ घंटे बिजली की उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी.
आदि आदि.
मित्रों, चुनाव जीतने के बाद देश की प्रगति को समर्पित कई गीत मोदी सरकार ने बनाए-जैसे कि मेरा देश बदल रहा है, आगे चल रहा है. दुर्भाग्यवश आज यह गीत एक नारा भर बनकर रह गया है. देश तो नहीं बदला लेकिन भाजपा बदल गई, उसका कार्यालय बदल गया. भाजपा आज पापी नेताओं के पापों का नाश करनेवाली गंगा बन गई है. उसका कार्यालय दुनिया का सबसे बड़ा कार्यालय है और वो खुद दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी.
मित्रों, बांकी किस क्षेत्र में क्या काम हुआ है आप ऊपर वर्णित वायदों को सरसरी निगाह से देखकर भी आसानी से मूल्यांकन कर सकते हैं. बर्बादे गुलिस्ताँ के लिए बस एक ही उल्लू काफी है, हर शाख पे उल्लू बैठा है अंजामें गुलिस्तान क्या होगा. यानि देश को बर्बाद करना है तो वित्त मंत्री किसी मूर्ख को बना दीजिए. बस वो अर्थव्यवस्था का नाश कर देगा और बांकी विभाग खुद ही बर्बाद हो जाएँगे, पूरा देश तबाह हो जाएगा. नोटबंदी से क्या लाभ हुआ राम जाने लेकिन जीएसटी से व्यापक नुकसान जरूर हुआ है. राज्यों की कर वसूली तो घटी ही है केंद्र की भी घट गयी है. राज्य सरकार व विश्वविद्यालयों के कर्मियों को ६-६ महीने से वेतन नहीं मिला है. बिहार और दिल्ली का तो मैं प्रत्यक्ष गवाह हूँ बांकी राज्यों का आपलोगों को बेहतर पता होगा. और उस पर तुर्रा यह है कि ऐसी हालत तब है जब अभी नए वेतनमान को लागू करना बांकी है उसके बाद वेतन चालू रहेगा या बिलकुल ही बंद हो जाएगा अरुण जेटली जाने या हमारी पॉकेटमार सरकार जाने जो इन दिनों टेलकॉम कंपनियों की तरह ग्राहकों के बैंक खातों से चुपके से पैसा खिसकाने में लगी हुई है. १५ लाख तो आए नहीं १५०० भी गए.
मित्रों, आपने ध्यान दिया होगा कि मोदी सरकार २०१९ की बात ही नहीं कर रही बल्कि २०२२ की बात कर रही है. ५ साल में कुछ अच्छा होता दिख नहीं रहा तो ३ सालों में क्या हो जाएगा और भारत को क्या बना दिया जाएगा? मुझे तो लगता है कि सिवाय मूर्ख के और कुछ नहीं. आपको क्या लगता है?
मित्रों, कुछ लोगों को यह भी लग सकता है कि मैंने पार्टी बदल ली है लेकिन ऐसा बिलकुल भी नहीं है. मैंने आज भी घनघोर राष्ट्रवादी हूँ. मेरे लिए मोदिभक्ति कभी देशभक्ति नहीं थी, नहीं है और न ही होगी.
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